अगर आप भी एक नई कार खरीदने का सपना देख रहे थे लेकिन बढ़ती कीमतों के कारण हर बार अपने अरमानों को रोक लेते थे, तो अब खुश हो जाइए। भारत सरकार ने हाल ही में जीएसटी (GST) व्यवस्था में बड़ा बदलाव करते हुए आम जनता और खास तौर पर मिडिल क्लास के लिए राहत की बड़ी सौगात दी है। GST 2.0 के तहत टैक्स स्ट्रक्चर में ऐसा सुधार किया गया है जो सीधे तौर पर आपकी जेब को राहत देगा और आपके कार खरीदने के फैसले को पहले से कहीं ज्यादा आसान बना देगा।
छोटी कारों को मिली बड़ी राहत
सरकार के इस फैसले का सबसे बड़ा फायदा छोटी और मिड-साइज कारों को हुआ है। पहले जिन गाड़ियों पर लगभग 29% से लेकर 31% तक जीएसटी और सेस (उपकर) लगता था, अब उस टैक्स को घटाकर सिर्फ 18% कर दिया गया है। और सबसे बड़ी बात, सरकार ने सेस को पूरी तरह से हटा दिया है। इसका सीधा असर कार की एक्स-शोरूम कीमत पर पड़ा है, जिससे लगभग 12% से ज्यादा की कमी देखी जा रही है।
अब वो कार जो पहले 5 लाख रुपये में आती थी, उसकी कीमत घटकर लगभग 4.38 लाख रुपये तक आ सकती है। सोचिए, एक झटके में लगभग 60,000 रुपये की बचत! इससे न सिर्फ एंट्री-लेवल खरीदारों का आत्मविश्वास बढ़ेगा, बल्कि ऑटोमोबाइल बाजार में भी नई ऊर्जा आएगी।
इन लोकप्रिय कारों पर पड़ेगा सीधा असर
मारुति ऑल्टो K10 जैसी बजट सेगमेंट की कारें अब पहले से लगभग 42,000 रुपये सस्ती हो सकती हैं। यही नहीं, मारुति की ही दो और बेस्टसेलर गाड़ियां स्विफ्ट और डिजायर, अब 60,000 रुपये तक सस्ती हो जाएंगी। यह बदलाव उन लाखों लोगों के लिए सुनहरा मौका है जो लंबे समय से एक भरोसेमंद और किफायती कार खरीदना चाह रहे थे।
हुंडई की ग्रैंड i10, जो खासकर शहरों में चलाने के लिए पसंद की जाती है, अब लगभग 47,000 रुपये सस्ती मिलेगी। वहीं, मारुति एस-प्रेसो जैसी कॉम्पैक्ट और स्टाइलिश कार भी अब करीब 3.83 लाख रुपये में उपलब्ध होगी, जो पहले 4.26 लाख रुपये की थी।
टाटा मोटर्स की चर्चित कार टियागो, जिसकी डिमांड बीते कुछ सालों में काफी बढ़ी है, अब लगभग 50,000 रुपये सस्ती होकर नए खरीदारों को आकर्षित करेगी। साथ ही, रेनो क्विड जैसे एंट्री-लेवल मॉडल्स पर भी भारी कटौती देखने को मिल रही है।
टाटा नेक्सन जैसी कॉम्पैक्ट SUV, जो आज के युवा वर्ग की पहली पसंद बन चुकी है, अब 80,000 रुपये तक सस्ती हो सकती है। यह बदलाव निश्चित ही इस सेगमेंट में एक नया उछाल लेकर आएगा।
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बड़ी SUVs और लग्जरी गाड़ियों पर भी असर
हालांकि टैक्स में सबसे ज्यादा राहत छोटी कारों को मिली है, लेकिन बड़ी SUVs और लग्जरी कारों पर भी मामूली फर्क देखने को मिलेगा। अब इन गाड़ियों पर टैक्स 45-50% की जगह घटकर सिर्फ 40% रह गया है। इससे महिंद्रा थार, हुंडई क्रेटा, महिंद्रा स्कॉर्पियो और टोयोटा इनोवा क्रिस्टा जैसी गाड़ियों की कीमतों में भी 3% से 10% तक की कमी हो सकती है।
उदाहरण के तौर पर, हुंडई क्रेटा जो पहले 43% टैक्स के दायरे में आती थी, अब उस पर सिर्फ 40% टैक्स लगेगा। इससे इसकी कीमत में लगभग 3% की गिरावट आ सकती है। महिंद्रा थार पर पहले 50% टैक्स लगता था, जो अब घटकर 40% रह गया है। इसका सीधा फायदा उन ग्राहकों को होगा जो लाइफस्टाइल SUV की तलाश में थे।
GST 2.0: ऑटो सेक्टर के लिए नई शुरुआत
सरकार के इस कदम से न सिर्फ उपभोक्ताओं को फायदा होगा, बल्कि इससे ऑटोमोबाइल इंडस्ट्री को भी एक नई रफ्तार मिलेगी। कोविड-19 और फिर वैश्विक मंदी के बाद इस सेक्टर को जिस बूस्ट की जरूरत थी, वह अब GST 2.0 के रूप में मिल गया है।
छोटी और मिड साइज कारों के सस्ते होने से एंट्री-लेवल बाजार में एक बार फिर तेजी देखी जा सकती है। इससे ना केवल डीलरशिप को फायदा होगा, बल्कि उत्पादन, रोजगार और सप्लाई चेन में भी सुधार आएगा। इसके साथ-साथ उपभोक्ता भी अब ज्यादा विकल्पों के साथ, कम कीमत पर बेहतर कारें खरीद सकेंगे।
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